चन्द इशहार
इश्क में हारे हुए के, चन्द जख्म, कुरेदते रहते हैं, न लगाते मरहम,
शुक्रवार, 9 सितंबर 2011
तब तुझे
तब तुझे मह्ताबों से महकता ये जहाँ दिखाई न देगा,
टूट जाएगा, दिल तेरा तुझसे कोई बेवफाई कर लेगा,
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